दुनिया में हर कोई चाहता है कि उसका बच्चा सुंदर और स्वस्थ हो। लेकिन इसके लिए गर्भवती महिला को अपने खान-पान पर ध्यान देने की काफी ज्यादा जरूरत होती है। सुंदर और गोरे बच्चे को पाने के लिए घर के बनाए गए खाद्य पदार्थों का सेवन ही ज्यादा फायदे होता है। और खास करके घर के बुजुर्ग महिलाएं इस बारे में जानती हैं। इस पोस्ट में आज हम आपको ऐसे कई नुस्खो के बारे में बताएंगे जिससे आप भी एक सुंदर शिशु को जन्म देंगे।
अपने खान पान का रखें ध्यान
गर्भावस्था के दौरान अपने खान पान में ज्यादा से ज्यादा पोषण वाली चीज़ो का सेवन करना चाहिए। इससे आपका बच्चा केवल स्वस्थ ही नही बल्कि सुंदर भी होगा। प्रेगनेंसी के दौरान महिलाओ को ज्यादा से ज्यादा दूध, दही, फल हरी सब्जि इत्यादि का सेवन करना चाहिए। इससे आपको व आपके बच्चो को विटामिन मिलेगा।

यह बात तो आप जानते ही हैं की जैसा अन्न होगा वैसा ही मन होगा। यह बात बिल्कुल सही है, क्योंकि हमारा खान पान हमें केवल शारीरिक शक्ति ही नहीं देता, बल्कि इसका प्रभाव मस्तिष्क ऊर्जा और व्यक्तित्व पर भी पड़ता है। कई वैज्ञानिको ने अपने अध्ययन से इस बात की पुष्टि की हैं कि संतुलित भोजन ब्रेन फंक्शन पर अच्छा प्रभाव डालता है। इसलिए, गर्भवती महिलाओ को भी अपनी दिनचर्या में पौष्टिक खाद्य पदार्थों को शामिल करना चाहिए, ताकि उनका बच्चा सुंदर और बुद्धिमान हो।
संतरों का सेवन करें
गर्भावस्था के दौरान हर महिला संतरा बड़े ही चाव से खाती है इसका खट्टा-मीठा स्वाद हर गर्भवती महिला को लुभाता है। कहा जाता है कि गर्भावथा में इसका सेवन करने से नए जन्मे शिशु का रंग गोरा होता है। इसका नियमित रूप से सेवन करने से गर्भवती महिला को कब्ज की शिकायत भी नहीं होती। इसके साथ संतरे में 90 प्रतिशत पानी होता है, जो शरीर में पानी की कमी की पूरा करने में मदद करता है। इसीलिए गर्भावस्था के दौरान आप नियमित रुप से रसीले संतरों का सेवन करें, इससे आपका नवजात शिशु गोरा, सुन्दर व गोल मटोल पैदा होगा। संतरे में विटामिन C, फोलेट और फाइबर पाया जाता है जो बच्चे के रंग निखारता है।
कच्चा नारियल
प्रेगनेंसी महिला को कच्चा नारियल खाना चाहिए। क्योंकि नारियल में बहुत ज्यादा पोटेशियम पाया जाता है जो बच्चे के त्वचा और उनके बालो के लिए अच्छा होता है। गर्भावस्था के दौरान नारियल पानी भी फायदेमंद होता है। उसका सफेद रंग त्वचा के मिलेनिन में मिलकर रक्त संचार में मदद करता है जिससे त्वचा का रंग साफ होता है। कच्चे नारियल के छोटे-छोटे टुकड़ो में मिश्री मिलाकर चबा-चबा कर खाने से भी बच्चा सुन्दर होता है और उसकी त्वचा चमकदार बनती है। नारियल पानी जरूरी पोषक तत्वो का खान होता है। नारियल में मौजूद तत्व गर्भस्थ शिशु का रूप निखारने में मदद करते हैं।
हरी सब्जियो का सेवन करें
गर्भवती महिलाओं को ज्यादा से ज्यादा हरी सब्जियां खानी चाहिए। गर्भावस्था में आयरन बहुत जरूरी है और हरी सब्जियो में आयरन का अच्छा स्रोत पाया जाता है। यह महिला को सेहतमंद बनाए रखने में मदद करति है। हरि सब्जियो में आप ब्रोकली पालक इत्यादि में कई पोषक तत्व पाए जाते हैं, जो गर्भवती महिलाओ के लिए बहुत जरुरी होते हैं। हरि सब्जियों में फाइबर, विटामिन A, विटामिन K, फोलेट, कैल्शियम और पोटेशियम होते हैं जो भ्रूण के लिए फायदेमंद है। साथ ही इन सबके सेवन से बच्चे का रंग भी प्रभावित होता है।
ताजे अंगूर का सेवन करें
गर्भवती महिलाओं को नियमित रुप से एक गिलास काले और ताजे अंगूरों के रस पीना चाहिए। इससे गर्भस्थ शिशु को काफी फायदा होता है। इससे बच्चे का रक्त शुद्ध होता है और वह कई प्रकार बीमारियों से भी बचे रहते हैं और उनकी त्वचा भी निखरती है।
गाजर के रस का सेवन करें

गर्भावस्था में गाजर का रस महिलाओं में रक्त की कमी को दूर करता है। साथ ही सलाद में कच्चे गाजर का सेवन करने से मां और बच्चा दोनों का स्वस्थ्य अच्छा रहता है।
चुकंदर खाएं
चुकंदर बहुत जल्द रक्त की कमी को दूर करने में मदत करता है। इसीलिए गर्भवती महिलाओं को चुकंदर का जूस पीना चाहिए। यह रक्त संचार का बढ़ाने के साथ त्वचा के रंग को भी निखारता है।
केसर बादाम वाला दूध पिएं
प्रेगनेंसी में महिलाओ को दूध में केसर और बादाम मिलाकर पीना चाहिए। इससे बच्चे का रंग निखरता है और बच्चा स्वस्थ पैदा होता है केसर औषधीय गुणों की खान होता है। केसर से मां और बच्चे दोनों को मिनरल व अन्य पोषक तत्व प्राप्त होते हैं।
अनार का जूस पिएं
अनार का जूस पीने से गर्भवती महिला का रक्त संचार बढता है और शिशु का रंग भी निखरता है। अनार में आयरन का भरपूर स्रोत होता है इसका सेवन करने से मां और बच्चा दोनो की हड्डियां मजबूत बनती हैं।
अंडे खाएं
जो गर्भवती महिलाएं नियमित रूप से अंडा खाती हैं, उन्हें विटामिन A, विटामिन D, जिंक और कई अन्य जरूरी तत्व पाए जाते हैं जैसे की पोटैशियम, मैग्नीशियम, फास्फोरस, आयरन, सोडियम और प्रोटीन मौजूद होता है। ये सभी तत्व गर्भवती महिलाओं और उनके होने वाले शिशुयो के लिए बहुत जरूरी होता है।
दलिया खाएं
इसके अलावा गर्भवती महिलाओं के दलिया भी फायदेमंद होता है। दरअसल यह एक प्रकार का सुपर फूड है इसे कई तरीको से खाया जा सकता है। इसके सेवन से आपके होने वाले शिशु के रंग पर गहरा असर पड़ेगा, वह गोरा-चिट्टा होगा। दलीया में कार्बोहाइड्रेट, फाइबर, पोटैशियम, कैलोरी और आयरन यह सब मौजूद होता है।
बादाम खाएं
माना जाता है कि बादाम खाने से बच्चा हृष्ट-पुष्ट, तंदुरुस्त पैदा होता है और इससे उनका रंग भी खिलता है। इसलिए हर गर्भवती महिला को दूध में बादाम डालकर खाने की सलाह दी जाती है। बादाम हड्डियों को भी मजबूत है बादाम में विटामिन E भरपूर मात्रा में होता है। जो शिशुओं के बालों को सुन्दर बनाता है। इसके लिए आप रात में बादाम को भिगोकर रख दें और अगले दिन सुबह इस बादाम को छीलकर दूध के साथ खाएं। बादाम में विटामिन-E के साथ ही स्वस्थ वसा, मैग्नीशियम, कोलीन, फोलेट और प्रोटीन जैसे कई स्वास्थ्यवर्द्धक तत्व होते हैं। फोलेट से शिशुओं में न्यूरल ट्यूब डिफेक्ट (ब्रेन और स्पाइन से जुड़ा दोष) का जोखिम कम हो सकता है। इसलिए, गर्भावस्था में फोलेट के साथ कई पोषक तत्वों की पूर्ति के लिए बादाम का सेवन करना फायदेमंद होता है। विशेषज्ञों के अनुसार भी गर्भावस्था के दौरान दिनभर में एक तिहाई कप बादाम का सेवन करना चाहिए।
केले का सेवन करें
केला एक बेहद फायदेमंद फल है जो तुरंत ऊर्जा प्रदान करता है। गर्भावस्था में यह फल काफी फायदा देता है यह महिलाओं को माॅर्निंग सिकनेस से बचाता है। इसमें विटामिन B 6 पाया जाता है। जो गर्भवती महिलाओ को माॅर्निंग सिकनेस से निपटने में मदद करता है। एक गर्भवती महिला को रोजाना 1.9 मिलीग्राम विटामिन बी 6 की जरूरत होती है।

ओमेगा-3
मछलि के साथ ऐसे कई समुद्री जीव है जिनमें लॉन्ग चेन ओमेगा-3 फैटी एसिड पाए जाते हैं, जो गर्भवतियों के लिए एक बहुत आवश्यक पोषक तत्व है। ओमेगा-3 फैटी एसिड गर्भस्थ शिशु के मस्तिष्क और आंखों के निर्माण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। यही नहीं, मछली से प्राप्त होने वाले ओमेगा-3 फैटी एसिड प्रेगनेंसी में महिला को स्वस्थ रखने और प्रसवकालीन अवसाद को रोकने में काफी सहायक होता है। साथ ही गर्भावस्था में मछलीयो का सेवन गर्भस्थ शिशु के मस्तिष्क को मजबूती देने में भी कारगर होता है। लेकिन इस विषय में आप एक बार डॉक्टर से भी बात कर लें क्योंकि समुद्री भोजन में ऑर्गेनिक पारा और अन्य हानिकारक विषाक्त पदार्थ भी रहते हैं जैसे, पॉलीक्लोराइनेटेड बिपेनिल्स जो बढ़ते भ्रूण के लिए हानिकारक हो सकते हैं।
पनीर खाएं
गर्भावस्था के दौरान बच्चे के मस्तिष्क विकास और आकर्षक व्यक्तित्व के निर्माण में जरूरी पोषक तत्वो की जरूरत होती है। पनीर के सेवन से गर्भवती महिलाए विटामिन-D हासिल कर सकती है। जो भ्रूण के शारीरिक और मानसिक विकास में मदद करता है। गर्भवती महिलाओं को हर दिन 600 माइक्रोग्राम विटामिन-D की आवश्यकता होती है और पनीर उन खाद्य पदार्थों में शामिल है, जो विटामिन-डी का एक अच्छा प्राकृतिक स्रोत है। पनीर बच्चे को बुद्धिमान बनाने के लिए विटामिन-D की पूर्ति कर सकता है।
कद्दू के बीज
कद्दू के में बीज जिंक और आयरन का अच्छा स्रोत होता है। आयरन की कमी से बच्चे में हिमोग्लोबिन, और ऊर्जा का स्तर कम हो सकता है। साथ ही यह कमी मोटर स्किल और कॉग्निटिव स्किल जैसे मानसिक क्षमताओं को भी प्रभावित कर सकती है। आयरन सम्पूर्ण शरीर में ऑक्सीजन सप्लाई करता है, जिससे मस्तिष्क कोशिकाओं को कार्य करने की क्षमता मिलती है। इसलिए, आयरन की कमी से बचने के लिए कद्दू के बीज का सेवन किया जा सकता है।

बिन्स का सेवन करें
तेजी से विकसित होने वाली कोशिकाओं के विकास और प्रसार के लिए आयरन बहुत महत्वपूर्ण है। भ्रूण के अंगों के निर्माण और खास करके मस्तिष्क सरंचना में आयरन सहायक हो सकता है। वैज्ञानिक प्रमाण भी यह बताते हैं कि हिप्पोकैम्पस (मस्तिष्क क्षेत्र) के निर्माण में आयरन का बहुत महत्व है जो गर्भावस्था के अंतिम दौर में तेजी से विकसित होता है। हिप्पोकैम्पस मस्तिष्क का वो महत्वपूर्ण हिस्सा है, जो सीखने और स्मृति को नियंत्रित कर सकता है। इसलिए, तीसरे महीनें में किडनी बीन्स, सेम और नेवी बीन जैसी आयरन युक्त फलियों का सेवन करना चाहिए।
ज्यादा से ज्यादा दूध पिए
दूध में कुछ फैटी एसिड पाए जाते हैं, जिनमें गैंग्लियोसाइड्स नामक यौगिक होता है। यह तंत्रिका ऊतक के निर्माण और नवजात के मस्तिष्क विकास के लिए काफी महत्वपूर्ण होता है। इसके अलावा, दूध में कैल्शियम पाया जाता है, जो स्वस्थ शिशु और स्वस्थ मां की पहली जरूरत है। प्रेगनेंसी में कैल्शियम की बहुत ज्यादा जरुरत होती है। वैज्ञानिको के अनुसार गर्भावस्था में महिला को रोजाना 1 हज़ार से 1300 मिलीग्राम कैल्शियम की आवश्यकता होती है। इसलिए, गर्भावस्था के दौरान महिलाएं दूध जरूर पिएं, क्योंकि यह कैल्शियम का प्राकृतिक स्रोत हो सकता है। गौर करने की बात यह है कि दूध में फैट होने से कैल्शियम की मात्रा घट जाती है। इसलिए, कैल्शियम की पूर्ति के लिए मलाई उतरा हुवा दूध पीना चाहिए।
अगर आप भी चाहते हैं स्वस्थ और सुंदर बच्चा तो हमारे इन बताए गए चीजों को जरूर फॉलो करें और उनका सेवन करें, ताकि आपका बच्चा भी स्वास्थ्य, तंदुरुस्त, सुंदर, सुडोल हो। आप तो यह बात अच्छे से जानते ही होंगे कि जब तक किसी चीज पर ठीक से फोकस नहीं किया जाए वह चीज अच्छा नहीं बनता और आप अपने बच्चे के लिए तो कभी लापरवाही नहीं करेंगे। हमारे इन बताए गए चीजों का सेवन करने से ना केवल आपका बच्चा ही स्वस्थ और सुंदर होगा, बल्कि गर्भवती महिला भी सुंदर और स्वस्थ बनी रहेगी। हम आशा करते हैं आपको यह जानकारी अच्छी लगी होगी, अगर आपको यह पोस्ट अच्छा लगा तो इस पोस्ट को लाइक करें और ज्यादा से ज्यादा शेयर करें। अगर इस बारे में आपका कोई सुझाव हो तो हमें आपको कमेंट बॉक्स में दे सकते हैं या अगर आपको इस विषय में कोई सवाल हो तो भी आप हमें में कमेंट करके पूछ सकते हैं।